लिङ्गाष्टकम् स्तोत्र – अर्थ, पाठ और महत्व | Lingashtakam with Hindi Meaning

लिङ्गाष्टकम् (Lingashtakam) श्लोक: Brahma Murari Surarchita Lingam ब्रह्ममुरारि सुरार्चितलिङ्गम् निर्मलभासित शोभितलिङ्गम्। जनमरण दुःखहरण लिङ्गम् तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम्॥ अर्थ:  ब्रह्मा, विष्णु

अहं ब्रह्मास्मि महावाक्य Aham Brahmasmi

“अहं ब्रह्मास्मि” एक प्रसिद्ध वैदिक और अद्वैत वेदांत के दर्शन का महावाक्य है, जिसका शाब्दिक अर्थ है “मैं ब्रह्म हूँ।”

अच्युतस्याष्टकम् -अच्युतं केशवं रामनारायणं Achyutashtakam Acyutam Keshavam Ramanarayanam

अच्युतस्याष्टकम् – Achyutashtakam Lyrics भगवान विष्णु की स्तुति में रचित एक अत्यंत पवित्र और लोकप्रिय स्तोत्र है, जिसे आद्य शंकराचार्य ने

शम्भु स्तुति – नमामि शम्भुं पुरुषं पुराणं Shambhu Stuti

शम्भु स्तुति – नमामि शम्भुं पुरुषं पुराणं Shambhu Stuti Lyriscs लंका पर प्रवेश से पूर्व भगवान श्री राम ने रामेश्वरम

श्री हनुमान स्तवन – श्रीहनुमन्नमस्कारः Shri Hanuman Stawan – Hanumanna Namskarah

श्री हनुमान स्तवन -Shri Hanuman Stawan भगवान हनुमान की स्तुति में रचित एक पवित्र और प्रभावशाली स्तोत्र है। इसका पाठ